नाश्ते-पानी के अलावा वकील से दिन में 2 बार मुलाकात, CBI रिमांड में सिसोदिया के पास और क्या सुविधाएं

नाश्ते-पानी के अलावा वकील से दिन में 2 बार मुलाकात, CBI रिमांड में सिसोदिया के पास और क्या सुविधाएं

शराब नीति घोटाला मामले में दिल्ली के पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) की हिरासत में हैं। इंडिया टुडे ने सीबीआई के सूत्रों के हवाले से जानकारी दी है कि एजेंसी के लॉक-अप में उन्हें किस तरह की सुविधाएं मिल रही हैं।रिपोर्ट के अनुसार, सिसोदिया को नाश्ता, दोपहर का भोजन, शाम का नाश्ता और फिर रात का खाना परोसा जाता है। साथ ही उन्हें अपने वकीलों से दिन में 2 बार मिलने की इजाजत है। सिसोदिया अपने परिवार के किसी सदस्य से हर एक दिन 15 मिनट के लिए मिल सकते हैं।

सूत्रों का कहना है कि सीबीआई की ओर से बैठक स्थल की व्यवस्था की गई है जहां गोपनीयता बनाए रखी जाती है। सिसोदिया को भोजन, नहाने की सुविधा के साथ साफ बाथरूम भी मुहैया कराया गया है। आप नेता को सुबह में अखबार और रात में सोने के लिए एक गद्दा दिया जाता है। सिसोदिया के थके होने पर जब कभी भी वह गद्दे की मांग करते हैं, उन्हें यह मुहैया करा दिया जाता है। बताया जा रहा है कि सीबीआई की हिरासत में दिल्ली के पूर्व सीएम के साथ काफी हद तक सामान्य कैदियों की तरह ही बर्ताव किया जा रहा है।

आबकारी घोटाला मामले में CBI का ऐक्शन
गौरतलब है कि दिल्ली के उपराज्यपाल वी.के. सक्सेना को आप नेताओं सत्येंद्र जैन और मनीष सिसोदिया के इस्तीफे मिल चुके हैं, जिन्हें उन्होंने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को भेज दिए हैं। भ्रष्टाचार के आरोपों में गिरफ्तार सिसोदिया और जैन ने मंगलवार को मंत्रिमंडल से इस्तीफा दे दिया था। अधिकारियों के अनुसार, केजरीवाल ने दोनों नेताओं के इस्तीफे स्वीकार कर लिए थे। मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में पिछले साल मई में प्रवर्तन निदेशालय की ओर से जैन की गिरफ्तारी के बाद विपक्षी भाजपा उनके इस्तीफे की मांग कर रही थी।

5 दिन की सीबीआई रिमांड पर हैं सिसोदिया
मनीष सिसोदिया को आबकारी घोटाले मामले में सीबीआई ने लंबी पूछताछ के बाद रविवार को गिरफ्तार किया था। सिसोदिया फिलहाल पांच दिन की सीबीआई की रिमांड पर हैं। अगस्त 2022 में आबकारी नीति घोटाले में नाम आने के बाद सिसोदिया को आलोचनाओं का सामना करना पड़ रहा था। यह नीति अब रद्द की जा चुकी है। मालूम हो कि सिसोदिया के पास शिक्षा, लोक निर्माण, वित्त, आबकारी, ऊर्जा, जल, स्वास्थ्य जैसे सबसे अहम विभाग थे। वह अपने विभागों के साथ ही जैन के स्वास्थ्य विभाग का काम भी देख रहे थे।

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